साइबर ठगों पर छत्तीसगढ़ पुलिस का बड़ा “प्रहार”, 2 इंटरनेशनल ठग समेत 4 गिरफ्तार: Whatsapp और Telegram के जरिये कैसे हुआ 27 लाख रूपए का फ्रॉड…? बिलासपुर रेंज साइबर थाने और ACCU की टीम ने हिमाचल में 1 हफ्ता डेरा डाल आरोपियों को पकड़ा

बिलासपुर। छत्तीसगढ़ के बिलासपुर रेंज साइबर थाने और बिलासपुर पुलिस की ACCU ने साइबर ठगों पर बड़ा प्रहार किया है। जिसमें पुलिस की टीम को बड़ी सफलता मिली है। पुलिस ने ऑनलाइन ठगी करने वाले 2 इंटरनेशनल ठग समेत 4 लोगों को गिरफ्तार किया है। गिरफ्तार आरोपियों में बांगलादेश और कैमरून के 2 अंतराष्ट्रीय ठग शामिल है। बिलासपुर रेंज IG डाॅ. संजीव शुक्ला (IPS) के निर्देश और बिलासपुर SP रजनेश सिंह (IPS) के मार्गदर्शन में यह पूरी कार्रवाई हुई है। पुलिस ने बताया कि, इन ठगों द्वारा वाॅट्सअप और टेलीग्राम एप के माध्यम से होटल, किला, लाॅज की रिव्यु रेंटिंग कर कम मेहनत में अधिक मुनाफा कमाने का झांसा देकर पीड़ित के साथ फ्रॉड किए है। सायबर ठगो के झांसे मेे आकर पीड़ित ने करीबन 27 लाख रू गवाएं है। पुलिस ने अब तक ठगी की राशि में से पीड़ित को करीब 9 लाख रू वापस दिलवाए है।

पुलिस ने आगे बताया कि, ये ठग सेकेण्ड हेण्ड मोबाईल, फर्जी सिम कार्ड और फर्जी बैंक अकाउंट धोखाधड़ी करने में इस्तेमाल करते थे। बैंक स्टेटमेंट, ATM, CCTV फुटेज की समीक्षा और तकनीकी इन्पुट से पुलिस शातिर अपराधियों तक पहुंच पाई। आरोपियों से 2 लैपटाॅप, 4 मोबाईल, 6 ATM कार्ड, 2 पासपोर्ट और बैंको के पासबुक बरामद किये गये है। इस कार्रवाई में खास बात यह भी है कि, रेंज सायबर थाना बिलासपुर और ए.सी.सी.यू. (सायबर सेल) बिलासपुर की टीम ने जॉइंट ऑपरेशन करते हुए 1 हफ्ते से अधिक समय तक हिमाचल प्रदेश के शिमला और सिलोन में डेरा डाला। एक हफ्ते रेकी करने के बाद पुलिस को सफलता मिली है। आरोपियों के खिलाफ धारा 420, 201, 34 भा.द.वि. एवं 66(डी) आई.टी एक्ट के टाहट कार्रवाई की गई है।

ये आरोपी हुए गिरफ्तार :-

  • प्रियांशु रंजन, उम्र 20 वर्ष, निवासी सैनिकपुरी हैदराबाद, (तेलंगाना) वर्तमान पता – बाहरादुनौती वाक्माघाट शिमला (हिमाचल प्रदेश)
  • राजवीर सिंह, उम्र 22 वर्ष, निवासी ग्राम व पोस्ट कलालकरन (जम्मू-कश्मीर) वर्तमान पता – बाहरा यूनिवर्सिटी वाक्नाघाट शिमला (हिमाचल प्रदेश)
  • मो. शोबुज मोरल, उम्र 25 वर्ष निवासी तेलीखानी दारून मोरनी खुलना (बांग्लादेश) वर्तमान पता – बाहरा यूनीवर्सिटी कलाघाट शिमला (हिमाचल प्रदेश)
  • टेम्कु कार्ल नगेह, उम्र 22 वर्ष, निवासी बामेन्डा 3 नर्कन कमेरुनियन (Tamfu Karl Ngeh, Age 22 Year, Address Bamenda 3 Nkwen Cameroonian) वर्तमान पता – बाहरा यूनिवर्सिटी वाक्नाघाट सोलन (हिमाचल प्रदेश)

पुलिस ने जानकारी देते हुए बताया कि, प्रार्थी सियाशरण तिवारी निवासी मोपका बिलासपुर (छ.ग.) को अज्ञात मोबाईल धारक द्वारा वाॅट्स्अप के माधयम से संपर्क कर घर में रहकर कार्य करने व लाभ अर्जित करने प्रलोभन दिया गया एवं ऑनलाईन टेलीग्राम एप के माध्यम से लिंक भेजकर गूगल मैप पर होटल, लाॅज, किला की आॅनलाईन रिव्यू रेटिंग कर उसका स्क्रीन शाॅट भेजने पर आय अर्जित कराने के नाम पर प्रार्थी से कुल 27,80,510 रूपये ठगी करने की रिपोर्ट पर अपराध पंजीबद्ध कर विवेचना में लिया गया। प्रार्थी के साथ धोखाधडी करने वाले व्यक्तियो की जानकारी एकत्र करने सायबर पोर्टल पर रिपोर्ट दर्ज कर कर अवलोकन किया गया संदिग्ध बैंक खातो को चिन्हांकित कर बैंक स्टेटमेंट, ए.टी.एम. फुटेज की समीक्षा एवं तकनीकी इन्पुट के आधार पर आरोपियो के हिंमाचल प्रदेश के शिमला व सोलन के आसपास मे ठिकाना बनाकर अपराध करने की जानकारी प्राप्त हुई।

डाॅ. संजीव शुक्ला (भा.पु.से.) पुलिस महानिरीक्षक बिलासपुर रेन्ज बिलासपुर एवं रजनेश सिंह (भा.पु.से.) पुलिस अधीक्षक बिलासपुर द्वारा धोखाधड़ी व सायबर अपराधो की समीक्षा कर समस्त राजपत्रित अधिकारियो को विशेष निर्देश दिये गये थे। इस निर्देश के पालन में एक विशेष टीम निरीक्षक राजेश मिश्रा के निर्देशन मे हिंमाचल प्रदेश के शिमला व सोलन ओर रवाना की गई थी टीम द्वारा 01 सप्ताह से अधिक समय तक हिंमाचल प्रदेश के शिमला व सोलन में रहकर आरोपीयो का पता ठिकाना ज्ञात कर विवेचना प्रारम्भ की गई जो आरोपीगण आॅनलाईन ठगी का काम करने में संलिप्त होने की जानकारी प्राप्त हुई

स्थानीय पुलिस के सहयोग से आरोपी प्रियांशु रंजन निवासी हैदराबाद को हिरासत में लेकर पुछताछ किया गया जो अपने साथी मो. शोबुल, राजवीर सिंह व टेम्फु कार्ल नगेह के साथ मिलकर विगत 01 वर्ष से अधिक समय से टेलीग्राम एप के माध्यम से लोगो को जोडकर विभिन्न प्रकार से मुनाफा कमाने के नाम पर आॅनलाईन ठगी का काम करना स्वीकार किये है ठगी के काम में उपयोग में आने वाले मोबाईल फोन, लैपटाॅप, फर्जी सिम कार्ड व फर्जी बैंक खाते जप्त किये गये है, गिरफ्तार किये गये चारो आरोपी बाहरा यूनिवर्सिटी वाक्नाघाट सोलन के छात्र है, गिरफ्तार आरोपीयो को न्यायिक रिमाण्ड पर माननीय न्यायालय पेश किया जायेगा।

सम्पुर्ण कार्यवाही में अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक शहर उमेश कश्यप , अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक ग्रामीण एवं ए.सी.सी.यू. बिलासपुर श्री अनुज कुमार , नगर पुलिस अधीक्षक चकरभाठा श्री निमितेश ंिसह के मार्गदर्शन में निरीक्षक राजेश मिश्रा प्रभारी ए.सी.सी.यू. एवं रेंज सायबर थाना बिलासपुर उप निरीक्षक अजय वारे, स.उ.नि. सुरेश पाठक, आरक्षक विजेन्द्र मरकाम, श्रीश तिवारी, मुकेश वर्मा व अन्य का विशेष योगदान रहा।

बिलासपुर पुलिस ने साइबर फ्रॉड से बचने के बताए उपाए :-

  • कोई भी व्यक्ति अनजान नम्बर से अपने आप को पुलिस का अधिकारी, सी.बी.आई. अथवा ई.डी. का अधिकारी बताकर ठगी करने का प्रयास करते है ऐसे काॅल से सावधान रहे। बिलासपुर पुलिस इस प्रकार के ठगी को रोकने के लिये थानो में आम जनता द्वारा दर्ज कराये गये रिपोर्ट में मोबाईल नम्बर एवं व्यक्तिगत जानकारी हाईड किया जा रहा है।
  • अनजान व्यक्ति जिसका नम्बर आपके मोबाईल पर सेव नही है उसके साथ कभी भी कोई निजी जानकारी, बैंकिग जानकारी, ओटीपी, आधार कार्ड, पैन कार्ड फोटो आदि शेयर न करे।
  • अनजान वेबसाईट एवं अनाधिकृत एप डाॅउनलोड या सर्च करने से बचे।
  • कम परिश्रम से अधिक लाभ कमाने अथवा रकम दुगना करने का झांसा देने वाले व्यक्तियों से सावधान रहे खुद को स्वयं होकर ठगो के पास न पहॅुचाये।
  • स्वयं की पहचान छुपाकर सोशल मिडीया फेसबुक, इन्स्टाग्राम, व्हाट्सएप इत्यादि के माध्यम से ईंटिमेट (अश्लील लाईव चैंट) करने से बचे।
  • परीक्षा में अधिक अंको से पास करा देने की झांसा देने वाले व्यक्तियो खासकर ़92 नम्बरो से आने वाले वाॅट्सअप काॅल से बचने का प्रयास करे।
  • गुगल सर्च इंजन पर आमजन अपनी सुविधानुसार कस्टमर केयर का नम्बर प्राप्त करने वेब ब्राउजर पर नम्बर सर्च करता है किन्तु वेबसाईट की जांच परख किये बिना उपलबद्ध नम्बर पर संपर्क कर फ्राॅड में फंसकर अपनी जमा पुंजी एवं निजी जानकारी खो बैठता है।
  • गुगल प्ले स्टोर अथवा वेब ब्राउजर अथवा सोशल मिडीया फेसबुक, इन्स्टाग्राम, वाॅट्स्अप लिंक के माध्यम से डाउनलोड किये गये लोन एप आपको कुछ राशि देने के एवज में आपके फोन का डाटा जिसमें आपके मोबाईल में संरक्षित परिचित व्यक्तियो के मोबाईल नम्बर, फोटो, विडीयो आदि आपके परमिशन से अपने पास सुरक्षित रख लेते है एवं आपकी निजी जानकारी फोटो एडिट कर अशलील में परिवर्तित कर आपके परिचितो में फैला देने एवं लोन राशि ब्याज सहित वापस करने का दबाव बनाकर एवं ब्लैकमेंल कर रकम की उगाही की जाती है।
  • उपरोक्त के अतिरिक्त भी आपकी बैंकिंग जानकारी एवं ओ.टी.पी. व क्रेडिट अथवा डेबिट कार्ड के पीछे छपे सी.वी.वी. नम्बर प्राप्त कर भी फ्राॅड की जाती है जिनसे सावधान रहने की आवश्यकता है।

उपरोक्तानुसार सावधानी बरतने के बाद भी यदि साइबर फ्राॅड के शिकार हो जाते है तो निम्न प्रकार से त्वरित रिपोर्ट दर्ज करा सकते है:-

  • तत्काल नजदीकी थाना में अपनी शिकायत दर्ज करें।
  • हेल्पलाईन नम्बर 1930 पर सम्पर्क कर सहायता प्राप्त कर सकते है।
  • https://cybercrime.gov.in पर जाकर ऑनलाइन शिकायत दर्ज कर सकते है।
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