रायपुर. घरों में पाले गए तोता व अन्य पक्षी के संबंध में राज्य सरकार की ओर से पूर्व में जारी निर्देश को वन विभाग ने स्थगित कर दिया है. इस संबंध में वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्रालय नई दिल्ली से तकनीकी मार्गदर्शन लिया जाएगा. यानि फिलहाल अगर घरों में तोता या अन्य पक्षी पाल रहे तो अभी कोई कार्रवाई नहीं होगी.

बता दें कि कार्यालय प्रधान मुख्य वन संरक्षक एवं वन बल प्रमुख छत्तीसगढ़ ने 23 अगस्त को रायपुर जिला सहित प्रदेश में कानूनन संरक्षण पाए तोतो एवं अन्य पक्षियों की धड़ल्ले से बिक्री के संबंध में कार्यवाही के निर्देश जारी किए थे. इस आदेश में संशोधन करते हुए अपर प्रधान मुख्य वन संरक्षक (संरक्षण) छत्तीसगढ़ अटल नगर, रायपुर ने सभी मुख्य वन संरक्षक एवं वनमण्डालधिकारी को पत्र भेजा है.

पत्र में कहा गया है कि प्रतिबंधित संरक्षण पाए गए वन पक्षियों की धड़ल्ले से हो रही बिक्री के संबंध में वन्यजीव संरक्षण अधिनियम 1972 यथा संशोधित 2022 के तहत वर्तमान में हो रही खरीदी बिक्री पर प्रतिबंध के लिए आवश्यक कार्यवाही किया जाना है, परंतु तोतों एवं अन्य पक्षी जो घरों में पाले गए हैं, उनके संबंध में 23 अगस्त को जारी निर्देशों को भारत सरकार, पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्रालय नई दिल्ली एवं वन्यप्राणी प्रभाग से आवश्यक तकनीकी मार्गदर्शन लिए जाने तक स्थगित रखा जाएगा.
राज्यभर के डीएफओ को जारी हुआ था ये निर्देश
राज्यभर के डीएफओ को भेजे गए निर्देश में कहा गया था कि वन्य जीव संरक्षण अधिनियम 1972 में हुए संशोधन की अनुसूची में तोता समेत अन्य पक्षियों की खरीदी, बिक्री तथा उसका पालन करना पूर्णतः प्रतिबंधित किया गया है. अधिनियम के प्रावधान का उल्लंघन अपराध की श्रेणी में रखा गया है. इसका उल्लंघन करने वालों के विरुद्ध सजा का प्रावधान भी है.