भिलाई। भिलाई की एक महिला से 54 लाख 90 हजार रुपये की ऑनलाइन ठगी का मामला सामने आया है। आरोपियों ने खुद को CBI अधिकारी बताकर महिला के परिवार को डरा-धमकाकर यह रकम डिजिटल अरेस्ट कर वसूली। दुर्ग पुलिस ने जांच के बाद उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ से चार आरोपियों को गिरफ्तार किया है। पुलिस ने ठगी में इस्तेमाल किए गए मोबाइल फोन और आधार कार्ड भी बरामद किए हैं।

क्या है पूरा मामला?
पीड़िता नम्रता चंद्राकर, निवासी प्रगति नगर, रिसाली ने नेवई थाने में शिकायत दी थी। 29 अप्रैल 2025 को कुछ अज्ञात लोगों ने वीडियो कॉल कर खुद को CBI अधिकारी बताया और कहा कि उनके पिता ने किसी नरेश गोयल को बैंक खाता बेचा है जिसमें मनी लॉन्ड्रिंग हुई है। आरोपियों ने गिरफ्तारी का डर दिखाकर परिवार की संपत्ति की जानकारी ली और अलग-अलग खातों में 54.90 लाख रुपये डलवाए। ये ठगी 29 अप्रैल से 29 मई 2025 के बीच हुई।

कैसे पकड़े गए आरोपी?
पुलिस ने मोबाइल नंबर और बैंक खातों की तकनीकी जांच से जानकारी जुटाई। सभी आरोपी लखनऊ (उत्तर प्रदेश) के रहने वाले निकले। एक टीम लखनऊ भेजी गई, जहाँ से चार आरोपियों को गिरफ्तार किया गया।
गिरफ्तार आरोपी
- दीपक गुप्ता (उम्र 19), थाना हजरतगंज, लखनऊ
- राजेश विश्वकर्मा उर्फ राजू पेंटर (उम्र 36), थाना हजरतगंज, लखनऊ
- कृष्ण उर्फ कृष (उम्र 19), थाना हजरतगंज, लखनऊ
- शुभम श्रीवास्तव (उम्र 25), त्रिवेणी नगर, लखनऊ

ठगी का तरीका
शुभम श्रीवास्तव ने रकम ठगी कर राजेश विश्वकर्मा के बैंक खाते में डलवाई। 29 मई को खाते में 9 लाख रुपये आए। राजेश ने यह पैसा निकालकर बाकी आरोपियों में 36 हजार कमीशन में बांटे, और शेष पैसे शुभम ने अपने पास रखे। पुलिस ने आरोपियों से मोबाइल फोन और आधार कार्ड जब्त किए हैं। आगे की पूछताछ के लिए सभी को पुलिस रिमांड पर लिया गया है।
पुलिस टीम का योगदान
इस कार्रवाई में थाना प्रभारी आनंद शुक्ला, उप निरीक्षक सुरेन्द्र तारम, सहायक उप निरीक्षक रामचंद्र कंवर, आरक्षक सूरज पांडे, रवि बिसाई और साइबर टीम की अहम भूमिका रही।
