जग्गी हत्याकांड : सुप्रीम कोर्ट से 6 दोषियों को मिली जमानत, 5 साल से जेल में थे सभी

रायपुर। छत्तीसगढ़ में एनसीपी नेता राम अवतार जग्गी हत्याकांड में सुप्रीम कोर्ट ने 6 दोषियों को जमानत दे दी है। हत्याकांड में दोषी पूर्व पुलिस अधिकारी एएस गिल, वीके पांडे और आरसी त्रिवेदी समेत 6 लोगों को राहत मिली है। सुप्रीम कोर्ट के चीफ जस्टिस संजीव खन्ना की बेंच ने यह फैसला सुनाया है।

बता दें कि सभी 6 दोषी पांच साल से ज्यादा जेल में बिता चुके हैं। 7 महीने पहले छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट ने निचली अदालत के फैसले को लेकर जग्गी हत्याकांड में सभी दोषियों की सजा बरकरार रखी थी। इसके बाद दोषियों ने कोर्ट में सरेंडर कर दिया था।

21 साल पहले हुई थी जग्गी हत्याकांड

4 जून 2003 को एनसीपी नेता रामावतार जग्गी की गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। इस मामले में 31 आरोपी बनाए गए थे, जिसमें से बलटू पाठक और सुरेंद्र सिंह सरकारी गवाह बन गए थे। अमित जोगी को छोड़कर बाकी 28 लोगों को दोषी करार दिया गया था। हालांकि बाद में अमित जोगी को बरी कर दिया गया था। अमित जोगी को बरी किए जाने के खिलाफ रामावतार जग्गी के बेटे सतीश जग्गी ने सुप्रीम कोर्ट में अपील की थी, जिस पर अमित के पक्ष में स्टे है।

जानिए कौन थे रामावतार जग्गी ?

कारोबारी बैकग्राउंड वाले रामावतार जग्गी देश के बड़े नेताओं में शुमार पूर्व केंद्रीय मंत्री विद्याचरण शुक्ल के बेहद करीबी थे। जब शुक्ल कांग्रेस छोड़कर NCP में शामिल हुए तो जग्गी भी उनके साथ-साथ गए। विद्याचरण ने जग्गी को छत्तीसगढ़ में NCP का कोषाध्यक्ष बनाया था।