मरीज की जान बचाने पार्षद वशिष्ठ नारायण मिश्रा ने फिर से बनवाया ग्रीन कॉरिडोर, 35 मिनट में सेक्टर-9 से पहुंच गए रामकृष्ण केयर, उपचार शुरू

– दुर्ग जिले में वेंटिलेटरयुक्त एंबुलेंस नहीं होने से हो रही परेशानी
– रायपुर से एंबुलेंस आने के बाद किया गया रेफर
– 4 महीने में 40 बार बनाया जा चुका है ग्रीन कॉरिडोर
– नेशनल हाइवे में फ्लाईओवर निर्माण होने की वजह से ट्रैफिक का रहता है दबाव

भिलाई। आज एक बार फिर सेक्टर-9 अस्पताल से रामकृष्ण केयर रायपुर के लिए ग्रीन कॉरिडोर बनाया गया। सीनियर पार्षद वशिष्ठ नारायण मिश्रा की पहल से यह ग्रीन कॉरिडोर बनाया गया। मरीज को महज 35 मिनट में सेक्टर-9 अस्पताल भिलाई से रायपुर रामकृष्ण अस्पताल में शिफ्ट किया गया। मरीज का उपचार भी शुरू हो गया है।


जानकारी के मुताबिक, सेक्टर-1 के रहने वाले आर. मोहन की तबीयत बिगड़ी। सेक्टर-9 अस्पताल में पार्षद वशिष्ठ ने उपचार के लिए ओपीडी लेकर गए। रामकृष्ण केयर डॉक्टर जो सेक्टर-9 अस्पताल में ओपीडी लेते हैं, उन्होंने मरीज का चेकअप किया। स्थिति ठीक नहीं होने की वजह से तत्काल रामकृष्ण केयर अस्पताल रायपुर ले जाने की सलाह दी।

रेफर करने के लिए मेडिकल बोर्ड बैठी। बोर्ड ने तत्काल रेफर किया। पार्षद वशिष्ठ ने ग्रीन कॉरिडोर के लिए समन्वय शुरू किया। ट्रैफिक पुलिस के डीएसपी गुरजीत सिंह से संपर्क किया। बिना देरी किए हाइवे पेट्रोलिंग मुहैया कराई गई। 12.30 बजे ग्रीन कॉरिडोर बनाकर सेक्टर-9 अस्पताल से रामकृष्ण केयर रायपुर के लिए शिफ्ट किया गया। पार्षद वशिष्ठ ने बताया कि, मरीज का उपचार शुरू हो गया है। एंजियोग्रॉफी हो रही है। एक्सपर्ट्स डॉक्टरों ने उपचार शुरू कर दिया है।

वेंटिलेटरयुक्त एंबुलेंस के लिए पार्षद वशिष्ठ ने की है मांग, आयुक्त ने बीएसपी को भेजा पत्र
पार्षद वशिष्ठ नारायण मिश्रा की पहल रंग ला रही है। पार्षद मिश्रा ने मांग की थी कि भिलाई शहर को वेंटिलेटर युक्त एंबुलेंस और शव वाहन की जरूरत है। शहर की बढ़ती जनसंख्या के मद्देनजर दोनों ही चीजें बहुत जरूरी है। इसके लिए सेक्टर-1 से पार्षद वशिष्ठ नारायण मिश्रा ने निगम आयुक्त और कलेक्टर को लेटर लिखा था। उनके लेटर के बाद इस पर काम शुरू हो गया है। आज निगम आयुक्त प्रकाश सर्वे ने बीएसपी के डायरेक्टर इंचार्ज अनिर्बान दासगुप्ता को पत्र लिखा है। जिसमें कहा है कि बीएसपी के सीएसआर मद से वेंटिलेटरयुक्त एंबुलेंस और शव वाहन मुहैया कराई जाए।

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