भिलाई। तालपुरी कॉलोनी बी ब्लॉक में विगत दिनों हुई घटना पर रविवार को कॉलोनी के बुद्धिजीवी रहवासिगण एक परिचर्चा का आयोजन कर घटना को दुर्भाग्य जनक बताया। उपस्थित लोगों का कहना था कि मामला व विवाद तालपुरी समिति के पदाधिकारियों व सदस्यों के बीच का था जिसमे की एक पदाधिकारी वकील भी है परंतु वह घटना स्थल पर समिति पदाधिकारी सदस्य की हैसियत उपस्थित था न कि अधिवक्ता की हैसियत से परंतु मामला को अधिवक्ता के साथ दुर्व्यवहार का बनाकर अधिवक्ता संघ के लोगों में भ्रम फैलाया गया जिससे सचिव रविशंकर सिंह के नेतृत्व में भारी संख्या में अधिवक्तागण थाने में उपस्थित हो गए।

घटना के बारे में जानकारी देते हुए कसेर ने बताया कि कॉलोनी में एसोसिएशन की सदस्यता चल रही थी पूर्व सूचना देकर जब सुनील चौरसिया व अन्य कॉलोनी वासिगण सदस्यता लेने एक आवेदन के साथ जिसमे की मांग की गई थी कि लगभग1200 मकानों वाली समिति में मात्र एक सप्ताह के सदस्यता अभियान की अवधि को बढ़ाया जाय आदि के साथ जब क्लब हाउस पहुचे तो अध्यक्ष यमलेश देवांगन ने विवाद खड़ा करते हुए यह कह कर इंकार कर दिया कि आप लोग मेरे खिलाफ क्लब हाउस बुकिंग राशि की गबन की शिकायत पुलिस में किये हो अतः न तो कोई आवेदन लेंगे और न ही सदस्यता देंगें। इससे विवाद और बढ़ गया क्योंकि ऐसा कोई नियम नही है और गबन की शिकायत व सदस्यता दोनों अलग-अलग विषय है।

उन्होंने आगे बताया कि, इस बीच असीम सिंग ने रिकॉर्डिंग कर रहे व्यक्ति का मोबाइल छीनते हुए सुनील चौरसिया पर टूट पड़ा लोगों ने घक्का दे कर बीच बचाव किया। बैठक में उपस्थित राजेन्द्र ने कहा कि लगभग 4 माह पूर्व सुनील चौरसिया ने यमलेश देवांगन एवं अन्य के विरुद्ध दस्तावेजी साक्ष्यों के साथ क्लब हाउस बुकिंग राशि के गबन की शिकायत पुलिस में किया है जो कि विवेचना में है, इसके अलावा पूर्व में सुनील चौरसिया कॉलोनी के सैकड़ो फोरम के केस इसी वकील को देते थे बाद में बंद कर दिया जिससे खटास उत्तपन्न हुआ इन सब बातों का ही दुष्परिणाम यह सुनियोजित घटना है ऐसा प्रतीत होता है। डी राव का कहना था कि समिति का कार्यकाल 2021 में ही समाप्त हो चुका है बिना चुनाव कराए अब तक काबिज है, सदस्यता हेतु कम समय देकर बाधा डाली जाती है जिससे लोगों में भारी आक्रोश है। बैठक में दर्जनों रहवासिगण उपस्थित थे।


